योजना के तहत गरीबों को मिलता है 1.60 लाख रुपये लोन बिना किसी सिक्योरिटी के:Dev Loan Yojana

Dev Loan Yojana:भारत एक कृषि प्रधान देश है, जहां अधिकांश आबादी खेती और पशुपालन पर निर्भर है। किसानों और पशुपालकों की आर्थिक स्थिति को मजबूत करने के लिए सरकार समय-समय पर नई योजनाएं लागू करती है। इसी दिशा में राजस्थान सरकार ने पशुपालकों के लिए देव लोन योजना शुरू की है। इस योजना के तहत पशुपालकों को 1.60 लाख रुपये तक का लोन बिना किसी सिक्योरिटी के दिया जाता है, जिससे वे अपने व्यवसाय को आगे बढ़ा सकें।

यह योजना पशुपालकों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है क्योंकि इसमें न केवल कम ब्याज दर पर लोन दिया जाता है, बल्कि इसके लिए कोई संपत्ति गिरवी रखने की भी जरूरत नहीं पड़ती। सरकार का उद्देश्य पशुपालकों को वित्तीय सहायता प्रदान कर उनके जीवन स्तर को सुधारना है। अगर आप भी इस योजना का लाभ लेना चाहते हैं तो आगे इस लेख में हम आपको इसकी पूरी जानकारी देंगे।

योजना के तहत पशुपालकों को दी जाती है आर्थिक सहायता

राजस्थान सरकार इस योजना के तहत गरीब, पिछड़ा वर्ग, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अल्पसंख्यकों को 1.60 लाख रुपये तक का ऋण बहुत ही कम ब्याज दरों पर उपलब्ध करवा रही है। इस योजना के अंतर्गत लोन लेने के लिए:

  • किसी भी प्रकार की संपत्ति गिरवी रखने की जरूरत नहीं है।
  • सरकार की तरफ से वेरिफिकेशन प्रक्रिया पूरी करने के बाद ही लोन प्रदान किया जाता है।
  • लोन पर सिर्फ 4% वार्षिक ब्याज लिया जाता है, जबकि अन्य बैंकों में यह दर 7% से 9% तक हो सकती है।
  • इस योजना के माध्यम से किसान अपने पशुपालन व्यवसाय को बढ़ावा दे सकते हैं और अपनी आय में वृद्धि कर सकते हैं।

देव लोन योजना के लाभ

  1. बिना किसी सिक्योरिटी के लोन – इस योजना के तहत पशुपालकों को बिना किसी संपत्ति को गिरवी रखे लोन मिलता है।
  2. कम ब्याज दर – सरकार किसानों को मात्र 4% ब्याज दर पर लोन प्रदान कर रही है, जिससे किसानों पर वित्तीय बोझ कम होगा।
  3. कृषि और पशुपालन को बढ़ावा – इस योजना के तहत मिले लोन से पशुपालक अपने व्यवसाय को विकसित कर सकते हैं और पशुधन बढ़ा सकते हैं।
  4. तेजी से लोन स्वीकृति – इस योजना में लोन प्रक्रिया को सरल और तेज बनाया गया है ताकि पशुपालक जल्द से जल्द इसका लाभ उठा सकें।
  5. सामाजिक और आर्थिक विकास – यह योजना विशेष रूप से गरीब, पिछड़ा वर्ग, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अल्पसंख्यकों के लिए फायदेमंद है।

योजना का लाभ लेने के लिए जरूरी पात्रता

देव लोन योजना का लाभ लेने के लिए पात्रता निम्नलिखित है:

  1. राजस्थान राज्य का स्थायी निवासी होना अनिवार्य है।
  2. पशुपालक के पास कम से कम 50 पशु होने चाहिए।
  3. वे पशुपालक जो पहले से केसीसी योजना (Kisan Credit Card) का लाभ उठा रहे हैं, वे भी इस योजना के लिए आवेदन कर सकते हैं।
  4. यह योजना गरीब, पिछड़ा वर्ग, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अल्पसंख्यकों के लिए विशेष रूप से चलाई गई है।

देव लोन योजना के लिए आवेदन कैसे करें?

अगर आप इस योजना के लिए आवेदन करना चाहते हैं, तो निम्नलिखित प्रक्रिया का पालन करें:

  1. अधिसूचित बैंक शाखा से संपर्क करें – योजना के तहत ऋण प्राप्त करने के लिए पशुपालकों को अपने नजदीकी अधिसूचित बैंक शाखा में जाना होगा।
  2. आवेदन फॉर्म भरें – बैंक शाखा में जाकर देव लोन योजना का आवेदन पत्र प्राप्त करें और उसे सही जानकारी के साथ भरें।
  3. दस्तावेज संलग्न करें – आवेदन के साथ निम्नलिखित दस्तावेज संलग्न करें:
    • आधार कार्ड
    • निवास प्रमाण पत्र
    • बैंक खाता विवरण
    • पशुपालन से जुड़े दस्तावेज
    • केसीसी योजना से जुड़ी जानकारी (यदि लागू हो)
  4. वेरिफिकेशन प्रक्रिया – सरकार द्वारा पशुपालकों की आर्थिक स्थिति और पशुपालन व्यवसाय का सत्यापन किया जाएगा
  5. लोन स्वीकृति और वितरण – यदि आपका आवेदन सही पाया जाता है तो आपको 1.60 लाख रुपये तक का लोन मंजूर कर दिया जाएगा।

योजना से जुड़ी अतिरिक्त जानकारी

  • योजना से संबंधित अधिक जानकारी के लिए पशुपालन विभाग से संपर्क किया जा सकता है।
  • यह लोन विशेष रूप से पशुपालकों की आर्थिक स्थिति को सुधारने के लिए दिया जा रहा है।
  • योजना के तहत मिले धन का उपयोग केवल पशुपालन संबंधी कार्यों में ही किया जा सकता है।

देव लोन योजना राजस्थान सरकार की एक बेहद लाभकारी योजना है, जो पशुपालकों को बिना किसी सिक्योरिटी के लोन प्रदान करती है। इस योजना के तहत कम ब्याज दर पर 1.60 लाख रुपये तक का लोन दिया जाता है, जिससे वे अपने व्यवसाय को आगे बढ़ा सकते हैं

यदि आप भी इस योजना का लाभ उठाना चाहते हैं, तो जल्द से जल्द अपने नजदीकी बैंक में आवेदन करें और इस योजना का अधिकतम लाभ प्राप्त करें।

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